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Up News || यूपी से बड़ी खबर || परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों के जिले में तबादले का खत्म हुआ इंतजार

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Up News || यूपी से बड़ी खबर || परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों के जिले में तबादले का खत्म हुआ इंतजार

UP Basic Shikshak Transfer 2024 || उत्तर प्रदेश के परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों के लिए बड़ी खबर सामने आ रही है। यह खबर परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों को तबादले से जुड़ी है। बताया जा रहा है कि उत्तर प्रदेश के बेसिक शिक्षा विभाग की ओर से परिषदीय स्कूलों में कार्यरत शिक्षकों के जनपद के भीतर तबादले की प्रक्रिया एक बार फिर से शुरू होने सकती है। सूत्रों के मुताबिक इसे लेकर बेसिक शिक्षा विभाग की ओर से उत्तर प्रदेश शासन को प्रस्ताव की भेज दिया गया है। इस प्रस्ताव के आधार पर बेसिक शिक्षा विभाग की ओर से शासनादेश भी जारी करने की तैयारी कर ली गई है। माना जा रहा है कि अगर सब कुछ सही तरीके से चला, तो शैक्षणिक सत्र 2024-25 के लिए परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों का जनपद के भीतर तबादले की प्रक्रिया जल्द शुरू हो सकती है।

छह साल से जनपद भीतर तबादले का इंतजार

बता दें कि उत्तर प्रदेश के बेसिक शिक्षा विभाग से संबंधित परिषदीय स्कूलों में पिछले 6 वर्षों से जिले के भीतर शिक्षकों का तबादला नहीं हुआ है। ऐसे में जाहिर है कि इसका इंतजार लंबे समय से किया जा रहा है। वहीं, विभाग की ओर से जिले के अंदर तबादले को लेकर कई बार प्रयास भी किया गया। लेकिन, तमाम तकनीकी कारणों की वजह से यह प्रक्रिया परवान नहीं चढ़ पाई। जिले के अंदर साल 2018, 2019 व 2023 में केवल पारस्परिक तबादले हुए थे। साथ ही समायोजन की प्रक्रिया की पूरी की गई थी। इसके अलावा तीन बार परिषदीय शिक्षकों का अंतर्जनपदीय तबादला पूरा किया गया।

जिला मुख्यालय से दूर स्कूलों में दे रहे सेवा

बेसिक शिक्षा विभाग की ओर से जिलों के भीतर परिषदीय शिक्षकों के तबादले न किए जाने की वजह से तमाम वरिष्ठ शिक्षक और शिक्षिकाएं जनपद मुख्यालय से करीब 70 से 80 किलोमीटर दूर स्कूल में सेवा देने को विवश हैं। बता दें कि दूसरे जिलों से आए कई शिक्षक व शिक्षिकाओं को जिला मुख्यालय के करीब विद्यालय आवंटित किए जाने की भी बात समय-समय पर उठती रही है। जबकि जानकारों के अनुसार, नियम यह कहता है कि पुरूष शिक्षकों को तैनाती प्रथम 5 वर्ष और महिला शिक्षकों को सेवा काल के 2 वर्ष पिछड़े ब्लॉक में कार्य करना होता है। वहीं, जनपद में 5 साल का सेवाकाल पूरा कर चुके शिक्षकों शिक्षिकाओं को खुले तबादले से वंचित रखा गया। जिसकी वजह से तमाम शिक्षकों को कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।

गड़बड़ाने लगा है शिक्षक व छात्र का अनुपात

उत्तर प्रदेश के कई जिलों के परिषदीय स्कूलों में शिक्षकों का जिले के अंदर तबादला न होने से शिक्षक और छात्र का अनुपात भी गड़बड़ाने लगा है। कहीं शिक्षक के अनुपात में छात्र अधिक हैं तो कहीं छात्र के अनुपात में शिक्षकों की संख्या अधिक हो गई है। कई स्कूल ऐसे हैं जहां छात्रों की संख्या अधिक होने के बाद भी विद्यालय एकल अध्यापक के भरोसे चल रहा है। इसका कहीं न कहीं असर स्कूलों में छात्रों के पठन पाठन पर भी पड़ने लगा है। आने वाले दिनों में अगर जिलों के भीतर शिक्षकों के तबादले की प्रक्रिया शुरू होती है, जो शिक्षक छात्र अनुपात सही हो सकता है। साथ ही पढ़ाई भी सुचारू रूप से संचालित होने लग सकती है।

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